आजमगढ़। प्रदेश में स्वास्थ्य व्यवस्था बदहाल है। सरकारी अस्पतालों के अभाव में लोग झोलाछाप डॉक्टरों से इलाज कराने को मजबूर है। झोलाछाप डॉक्टर लोगों का इलाज करने में जुटे है। झोलाछाप डॉक्टर से इलाज कराने के चक्कर में जिले की किशोर ने दम तोड़ दिया। किशोरी की मौत के बाद झोलाछाप डॉक्टर शटर गिराकर फरार है। यह घटना आजमगढ़ के बिलरियागंज थाना क्षेत्र के भदांव गांव निवासी किशोर के साथ हुई। आरोप है कि एक्सपायरी दवा दिए जाने के चलते किशोर की मौत तक हो गई। इसके बाद झोलाछाप फरार हो गया है।
एक खुराक खाते ही बिगड़ी तबीयत
बिलरियागंज थाना क्षेत्र के भदावं गांव निवासी धीरेंद्र प्रताप(17) उर्फ प्रियांशु पुत्र राजीव की 29 अगस्त को तबीयत खराब हुई। उसे बुखार होने के साथ ही दस्त आने लगे। जिस पर परिजन उसे लेकर मालटारी बाजार स्थित एक छोलाछाप के यहां लेकर पहुंचे। उसने चार खुराक दवा दी और मरीज को घर भेज दिया।
घर वालों का आरोप है कि एक खुराक दवा खाने के बाद ही किशोर की तबीयत बिगड़ने लगी। परिजनों ने उसे जिला मुख्यालय स्थित प्राइवेट अस्पताल लाकर भर्ती कराया, जहां इलाज के दौरान सोमवार की रात उसकी मौत हो गई। इलाज कर रहे डॉक्टर ने परिजनों को बताया कि लीवर और किडनी में इंफेक्शन के चलते बच्चे की हालत खराब हुई और उसकी मौत हो गई।परिजनों ने प्राइवेट क्लीनिक संचालक द्वारा दी गई दवा को जब देखा तो वह एक्सपायर मिली। इसके बाद सोमवार की रात ही परिजन झोलाछाप के यहा पहुंच गए। उस समय वह मौके पर मौजूद नहीं था, बाद में परिजन शव लेकर घर चले गए।
जब झोलाछाप डॉक्टर को इसकी जानकारी हुई है, तब से वह फरार है। मृतक के चाचा ने यह आरोप लगाया है लेकिन पुलिस को तहरीर देने के बजाए शव का अंतिम संस्कार कर दिया है। इस बाबत एसओ बिलरियागंज धर्मेंद्र सिंह ने कहा कि अभी तक कोई तहरीर नहीं मिली है। यदि तहरीर मिलती है तो मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जाएगी।
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