कानपुर। एक कहावत है कि अपराध करने वाला चाहे जितना झूठ बोल ले, लेकिन वह अपने गुनाहों को छीपा नहीं पाता है। कुछ ऐसा ही मामला कानपुर के काकादेव कोचिंग मंडी स्थित गर्ल्स हॉस्टल की वार्डन की मौत के मामले में हुआ था, उसकी हत्या रोज घर आने वाले टिफिन सप्लायर ने ही दुष्कर्म के बाद किया था, पुलिस को गुमराह करने के लिए मनगढ़ंत कहानी सुनाई थी, पुलिस की जांच के सामने ही वह जल्द टूट गया। हालांकि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म की पुष्टि हुई साथ ही भारी वस्तु से प्रहार करके हत्या करने की बात सामने आई।
बता दें कि हरदोई की रहने वाली 35 वर्षीय महिला कई वर्षों से हॉस्टल में वार्डन थी। वह हॉस्टल की तीसरी मंजिल पर रहने के साथ ही टिफिन का काम भी करती थी। पति की वर्ष 2018 में बीमारी से मौत हो चुकी थी। परिवार में तीन बेटे और एक बेटी है। सोमवार को सभी बेटे काम से बाहर थे। शाम को बेटी दूध लेने गई थी, उस वक्त पर उसकी मां और मसवानपुर का रहने वाला टिफिन सप्लायर घर पर ही थे।
दरवाजा खोलकर भागा आरोपी
जब बेटी दूध लेकर घर लौटी तो दरवाजा खटखटाने के बावजूद किसी ने नहीं खोला। कुछ देर बाद अंदर से टिफिन सप्लायर ने दरवाजा खोला और भाग निकला। जब बेटी अंदर पहुंची तो मां लहूलुहान, निर्वस्त्र और अचेत अवस्था में पड़ी मिली। हैलट में इलाज के दौरान देर रात उसकी मौत हो गई। सूचना जब पुलिस को मिली तो कमरे से भागे टिफिन सप्लायर को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया। आरोपी ने बताया कि महिला ने उसके साथ शराब पी थी। अधिक शराब पी लेने से उसे ब्लीडिंग शुरू हो गई। उलझन होने के कारण उसने खुद अपने कपड़े उतारे थे। जब बुधवार को शव की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आई तो उसकी हत्या और दुष्कर्म की पुष्टि हुई।
हड्डी टूटने से हुई मौत
पोस्टमार्टम के लिए सीएमओ ने तीन डॉक्टरों के पैनल का गठन किया। डफरिन अस्पताल की डॉ. सालूका रावत, कांशीराम ट्रामा सेंटर के डॉ. सुमित मिश्रा और कल्याणपुर सीएचसी के डॉ. सचिन सिंह शामिल रहे। वीडियोग्राफी भी कराई गई। डाक्टरों ने पाया कि महिला की मौत बीमारी या प्राइवेट पार्ट से ब्लीडिंग के कारण नहीं हुई थी। उसके सिर पर भारी वस्तु के प्रहार किया गया। इससे सिर की हड्डी टूटने से वह कोमा में चली गई, जिसके बाद उसकी मौत हुई। सिर और माथे पर भी चोटों के निशान मिले हैं।
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