लखनऊ-बिजनेस डेस्क। गोल्ड प्लस ग्लास इंडस्ट्री लिमिटेड भारत में फ्लोट ग्लास की दूसरी सबसे बड़ी निर्माता कंपनी है। वित्तीय वर्ष 2021 में फ्लोट ग्लास की विनिर्माण क्षमता में कंपनी का 16 फीसदी हिस्सा है। उत्तर भारत में, गोल्ड प्लस ग्लास उद्योग एक स्थान पर प्रतिदिन 1,250 टन (टीपीडी) की कुल क्षमता के साथ सबसे बड़ी फ्लोट ग्लास निर्माता कंपनी और दो उत्पादन लाइनों वाली एकमात्र कंपनी है। (स्रोत- क्रिसिल रिपोर्ट)
गोल्ड प्लस ग्लास इंडस्ट्री ने 8 अप्रैल 2022 को मार्केट रेगुलेटर सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) के साथ अपना ड्राफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (डीआरएचपी) दाखिल किया है। इस ऑफर में 300 करोड़ रुपए के इक्विटी शेयरों का नया इश्यू (फ्रेश इश्यू) शामिल है, और इसमें शेयरधारकों द्वारा 12,826,224 इक्विटी शेयर तक बिक्री की पेशकश (बिक्री के लिए प्रस्ताव) भी शामिल है। कंपनी का प्रस्ताव है कि शुद्ध आय का उपयोग फंडिंग के लिए किया जाए (ए) सभी या कुछ निश्चित उधारों का पुनर्भुगतान/पूर्व भुगतान, लगभग 200 करोड़ रुपए (बी) कंपनी की इन्क्रीमेंटल वर्किंग केपिटल संबंधी जरूरतों को फंडिंग करना, लगभग 35 करोड़ रुपए और (सी) शेष राशि का उपयोग सामान्य कॉर्पाेरेट उद्देश्यों के लिए किया जाएगा।
30 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी
गोल्ड प्लस ग्लास इंडस्ट्री लिमिटेड के सिग्निफिकेंट ऑपरेशंस और वैल्यू-एडेड ग्लास सेगमेंट पर ध्यान केंद्रित करने से हम भारत में अग्रणी कंपनियों में से एक बन गए हैं। कंपनी की वित्तीय वर्ष 2021 में वैल्यू-एडेड ग्लास के लिए बिक्री की मात्रा में 30 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी और क्लीयर ग्लास की बिक्री में 15 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी है। कंपनी ने 2009 में वाणिज्यिक उत्पादन शुरू किया, और कंपनी ने क्लीयर और वैल्यू एडेड ग्लास की व्यापक रेंज के साथ फ्लोट ग्लास निर्माण में अग्रणी कंपनियों में से एक बनने के लिए अपने ब्रांड और विस्तृत वितरण नेटवर्क को विकसित किया है। यह भारत में केवल दो निर्माताओं में से एक है जो एक स्थान से क्लीयर और वैल्यू एडेड ग्लास की एक विस्तृत रेंज का निर्माण करने में सक्षम है, जिसमें दोनों उत्पादन लाइनें फंजीबल हैं जो हमें कुछ प्रतिस्पर्धी लाभ प्रदान करती हैं।