‘आधी आबादी’ पर अपराध में यूपी नंबर-वन! NCW के आंकड़ों ने बताई हकीकत, 30 फीसदी बढ़े अपराध

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राष्ट्रीय महिला आयोग (NCW) के मुताबिक देशभर से लगभग 31 हजार शिकायतें मिलीं। इसमें 15 हजार से अधिक सिर्फ यूपी की हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक राष्ट्रीय महिला आयोग की ओर से कहा गया है कि साल 2020 के मुकाबले 2021 में महिलाओं के खिलाफ अपराध की शिकायतें 30 फीसदी बढ़ी हैं।

लखनऊ। अभी ​कुछ दिनों पूर्व ही देश के गृहमंत्री अमित शाह ने यूपी में एक जनसभा में कहा गया था कि आधी आबादी यानि महिलाओं पर’यूपी में अपराध कम है। यहां महिला देर रात गहने पहनकर घूमती है। यहां महिला अपराध पर योगी सरकार ने नकेल कसी है।’ मगर शाह के इन दांवों की पोल NCW के आंकड़ों से खुद ब खुद खुलती नजर आती है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बीते साल महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले में सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में आए। दरअसल राष्ट्रीय महिला आयोग (NCW) के मुताबिक देशभर से लगभग 31 हजार शिकायतें मिलीं। इसमें 15 हजार से अधिक सिर्फ यूपी की हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक राष्ट्रीय महिला आयोग की ओर से कहा गया है,

कि साल 2020 के मुकाबले 2021 में महिलाओं के खिलाफ अपराध की शिकायतें 30 फीसदी बढ़ी हैं। बताया गया कि 2014 के बाद से राष्ट्रीय महिला आयोग को मिलीं शिकायतों की संख्या सबसे अधिक है। बताया गया कि 2014 में कुल 33,906 शिकायतें मिली थीं, जबकि बीते साल 31 हजार के करीब मिली हैं।

बताया गया कि साल 2020 में शिकायतों का यह आंकड़ा 23722 था। वहीं महीने के हिसाब से देखें तो जुलाई से सितंबर के बीच हर महीने 3,100 से अधिक शिकायतें मिलीं। बताया गया कि आखिरी बार 3,000 से अधिक शिकायतें मिली थीं। उस वक्त 2018 में मी-टू आंदोलन चल रहा था।

NCW के ये हैं आंकड़े

राष्ट्रीय महिला आयोग के आंकड़ों के मुताबिक महिलाओं ने सबसे अधिक शिकायतें दीं कि उन्हें सम्मान के साथ रहने नहीं दिया जा रहा। इस दौरान उनका मानसिक शोषण बहुत हुआ है। इसके बाद घरेलू हिंसा फिर दहेज उत्पीड़न की शिकायतों के मामले रहे। बताया गया कि देशभर में सबसे ज्यादा यूपी की महिलाओं ने शोषण की शिकायतें कीं।

यह कुल आंकड़ों में से आधे से अधिक हैं। बताया गया​ कि बीते साल 1819 शिकायतें छेड़छाड़ में, 1675 शिकायतें बलात्कार या इसकी कोशिश, 1537 शिकायतें पुलिस की उदासीनता और 858 शिकायतें साइबर क्राइम की दर्ज हुई हैं।

सीएम योगी के ये रहे हैं दांवे

अक्टूबर 2021 में यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने बीते साल अक्टूबर में लोगों से महिलाओं को देवी के रूप में देखने का आग्रह किया था। उन्होंने कहा था कि इससे उनके खिलाफ अपराध को रोकने में मदद मिल सकती है। वहीं मार्च 2021 में 4 साल पूरे होने पर सरकार की उपलब्धियां गिनाते हुए कहा था कि महिला सुरक्षा को लेकर खास ध्यान दिया गया है।

एनसीआरबी के ये आंकड़े बयां करते हैं हकीकत

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक 2020 के आंकड़े एनसीआरबी के अनुसार 2017 में 56,011 मामले दर्ज किए गए थे। वहीं 2018 में संख्या बढ़कर 59,445 हो गई। 2019 में यह संख्या 59,853 हो गई। 2017 में 4,246 बलात्कार के मामलों की रिपोर्ट दर्ज हुई। लगभग 1,560 मामलों में पीड़िता नाबालिग थी। 2017 में हर रोज 153 मामले दर्ज हुए।

2018 में महिलाओं के खिलाफ 162 मामले हर रोज दर्ज हुए। 2018 में 1411 नाबालिगों सहित 4, 322 पीड़ितों के साथ 3, 946 बलात्कार के मामले दर्ज हुए। लगभग 12 हर दिन दर्ज किए गए। 2018 के दौरान POCSO के तहत 5,401 मामले दर्ज किए गए। 2018 की रिपोर्ट में दावा- यूपी पुलिस के पास हर दो घंटे में बलात्कार का मामला।

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