लखनऊ। अभी तक पीएचडी करनी एक लंबी प्रक्रिया होती थी, लेकिन लखनऊ विश्वविद्यालय ऐसे लोगों के लिए पीएचडी प्रोग्राम लेकर आया है जो परिवार के चलाने के लिए पढाई के बाद पीएचडी नहीं कर पाए थे। ऐसे लोग अब अपनी नौकरी के साथ ही पीएचडी करन सकते है।
लखनऊ विवि में पहली बार होने वाले पार्ट टाइम पीएचडी की तैयारी लगभग पूरी हो गई है। विवि से मिली सूचना के अनुसार 28 अगस्त से पांच सितंबर के बीच आवेदन दिए जाएंगे। हाल ही में हुई प्रवेश समिति की बैठक में इस पर सहमति बनी है। दाखिले विभागों में विभागीय शोध समिति (डीआरसी) से होंगे। विश्वविद्यालय प्रशासन प्रवेश प्रक्रिया का विस्तृत विवरण जल्द ही जारी करेगा।
लखनऊ विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों में शैक्षिक सत्र 2020-21 में पार्ट टाइम पीएचडी प्रवेश के लिए 28 विभागों में 92 सीटें तय हुई हैं। पहली बार ऐसा होगा कि नौकरी करने वालों के लिए भी पार्ट टाइम पीएचडी करने की सुविधा दी जा रही है।
विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर जारी विवरण के मुताबिक एक हजार शब्दों के शोध लेख में टॉपिक, रिसर्च मैथेड, डिजाइन, डेटा कलेक्शन, प्लान, डेटा एनालिसिस मैथेड सहित कई सूचनाएं शामिल होनी चाहिए। शोध लेख लिखने का समय 90 मिनट का होगा। एडमिशन सेल के मुताबिक जल्द ही प्रवेश संबंधी निर्देश जारी होंगे।
इस तरह होगी चयन प्रक्रिया
एक हजार शब्दों का शोध लेख लिखना होगा : 70 अंक
कार्य अनुभव : 10 अंक
एकेडमिक इंडेक्स : 10 अंक
साक्षात्कार : 10 अंक
कुल अंक : 100
कैटेगिरी वार तैयार होगी मेरिट
एडमिशन सेल की ओर से दी गई सीटों के आधार पर विभागीय शोध समिति (डीआरसी) शोध लेखन, साक्षात्कार, कार्य अनुभव और शैक्षिक इंडेक्स को शामिल करते हुए कैटेगिरी वार मेरिट तैयार करेगी। जिसके बाद प्रवेश लिए जाएंगे। पार्ट टाइम पीएचडी में प्रवेश लेने वाले शोधार्थियों को कोर्स वर्क में रोजाना उपस्थिति नहीं दर्ज करानी होगी। सिर्फ छह महीने में छह दिन की उपस्थिति अनिवार्य है। लेकिन कोर्स वर्क की परीक्षा पास करना जरूरी होगा।
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