आगरा। यूपी चुनाव को लेकर पहले चरण के नामांकन की प्रक्रिया चल रही है, इस क्रम में ऐन वक्त पर पार्टी बदलने के साथ ही प्रत्याशी बदलने का सिलसिला जारी है।कोई भी दल कोई भी कसर नही छोड़ना चाहते है, इसके लिए चाहे किसी को नाराज करना पड़े या गंवाना। इसी बदलाव के क्रम में आगरा में सपा ने फतेहाबाद विधानसभा सीट पर अपना प्रत्याशी बदल दिया है। पार्टी ने फतेहाबाद सीट पर पहले राजेश शर्मा को मैदान में उतारा था, मगर, 3 दिन बाद ही उनकी जगह अब रूपाली दीक्षित को प्रत्याशी बनाया गया है। रूपाली दीक्षित बाहुबली अशोक दीक्षित की बेटी हैं।
मालूम हो कि सपा और रालोद गठबंधन में सपा ने आगरा की 9 में 6 सीटों पर अपने प्रत्याशी घोषित किए हैं। ऐसे में 3 दिन पहले फतेहाबाद विधानसभा सीट से राजेश शर्मा को अपना प्रत्याशी बनाया था। उन्हें बी-फार्म भी दे दिया गया था।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार राजेश शर्मा को टिकट देने के बाद इस सीट पर सपा को कमजोर होने का फीडबैक दिया गया। इसके बाद फिर से पार्टी ने सीट पर मजबूत प्रत्याशी की तलाश शुरू की। अशोक दीक्षित की बेटी रूपाली दीक्षित भी इस सीट के लिए दावेदारी कर रही थीं। ऐसे में पार्टी की ओर से राजेश शर्मा की जगह पर रूपाली के नाम पर मोहर लगा दी गई। सपा महानगर अध्यक्ष वाजिद निसार ने बताया कि पार्टी की ओर से बदलाव करते हुए फतेहाबाद सीट पर रूपाली दीक्षित का नाम तय किया गया है।
भाजपा के छोटे लाल से होगी टक्कर
वहीं फतेहाबाद विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी छोटेलाल वर्मा मैदान में हैं। 2007 में फतेहाबाद से अशोक दीक्षित ने निर्दलीय चुनाव लड़ा था। तब वह दूसरे नंबर पर रहे थे। अब उनकी बेटी रूपाली चुनाव मैदान में हैं। ऐसे में दोनों के बीच टक्कर देखी जा रही है। पिछले दिनों छोटेलाल ने अशोक दीक्षित के खिलाफ विवादित बयान भी दिया था। तब भी मामला चर्चा में आया था।
एसके शर्मा ने थामा बहनजी का हाथ
टिकट न मिलने से बीजेपी छोड़ने वाले एसके शर्मा ने आखिरकार अपना नया घर खोज लिया शर्मा ने बसपा प्रमुख मायावती से मिलकर सदस्यता लेने के साथ ही टिकट ले लिया। मालूम हो कि मंगलवार को एस के शर्मा ने भाजपा से इस्तीफा दिया था। एस के शर्मा भाजपा में प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य थे। एस के शर्मा ने बुधवार को बसपा का दामन थामते हुए मथुरा वृंदावन विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने का एलान किया।
मांट की जगह मथुरा वृंदावन से लड़ेंगे चुनाव
बसपा का दामन थाम कर मथुरा वृंदावन विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने जा रहे एस के शर्मा मांट विधानसभा सीट से भाजपा से टिकट चाह रहे थे। लेकिन भाजपा ने जब मांट विधानसभा सीट से उनको टिकट न देकर वहां से राजेश चौधरी को अपना प्रत्याशी बनाया जिसके बाद वह बागी हो गए और उन्होंने मंगलवार को भाजपा से इस्तीफा दे दिया।
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