अयोध्या। प्राण प्रतिष्ठा के बाद जैसे ही रामलला का द्वार भक्तों के लिए खुला, वैसे ही भक्तों का सैलाब अवध की ओर कूच कर गया। आलम यह है कि दो दिन में लगभग दस लोगों ने प्रभु के दर्शन किए। साथ ही क्तों ने लिए दिल खोलकर दान, पहले दिन आए 3.17 करोड़ रुपये दान किए। वहीं दूसरे व्यवस्थाएं सही होने से श्रद्धालु काफी संतुष्ट दिखे।
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श्रद्धालुओं की भीड़ देख प्रशासन के हाथ— पांव फूलने लगें, व्यवस्थाएं संभालने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को मोर्चा संभालना पड़ा। वहीं प्रशासन वीआईपी से अपील कर रहा है कि वह यहां आने से पहले सूचित करें, इसके साथ ही वीआईपी से अभी नहीं आने का निवेदन किया जा रहा है। प्रशासन ने अथक प्रयास कर आखिरकार रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के बहुउपयोगी तीर्थयात्री सुविधा केंद्र को शुरू करा दिया। इससे सब कुछ व्यवस्थित करने में मदद मिली। दूसरे दिन बुधवार को 2.5 लाख से अधिक भक्तों ने अयोध्या में राम मंदिर में दर्शन किए।
करोड़ पति हुए रामलला
प्राण की प्रतिष्ठा होते ही प्रभु राम करोड़पति हो गए। देश-दुनिया के भक्तों ने नव्य मंदिर में आराध्य के विराजमान होने की खुशी में 3.17 करोड़ रुपये की निधि समर्पित की। वैसे तो रामलला को हजारों करोड़ का दान और चढ़ावा मिला है। प्राण प्रतिष्ठा के बाद मंगलवार को नव्य मंदिर आम भक्तों के दर्शन के लिए खोला गया। इस दिन आराध्य की एक झलक पाने के लिए श्रद्धालुओं में उत्साह है, वह यहां आकर प्रभु दर्शन करके अपने को धन्य करना चाहता है। डॉ. अनिल मिश्र ने मीडिया को बताया कि मंगलवार को आया दान काफी महत्व रखता है। ऑनलाइन समर्पण निधि अर्पित करने के लिए रामभक्तों को परिश्रम करना पड़ा। इतनी ज्यादा भीड़ में भी वे धैर्य का परिचय देते हुए क्यूआर कोड को स्कैन कर अपनी निष्ठा का प्रदर्शन करना नहीं भूले।
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