नवेद शिकोह-लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार का बुलडोजर माडल अमन, शांति और सौहार्द का भी प्रतीक बनता जा रहा है। योगी के बुलडोजर माडल पर अमल करने वाले राज्यों में भले ही बहस छिड़ी है, लेकिन यूपी में इसके सकारात्मक रंग बिखरते दिख रहे हैं। यहां हिन्दू, मुसलमान, सिक्ख, ईसाई.. सबको धार्मिक आयोजनों की आजादी है। बेहतर कानून व्यवस्था के नियमों का पालन करते हुए धार्मिक जुलूस और अन्य आयोजन अमन-शांति के साथ सम्पन्न हो रहे हैं।
लखनऊ में रोजाअफ्तार के आयोजनों में सभी धर्मों के लोगों का जमावड़ा है। इसी तरह इक्कीस रमजान को हजरत अली की याद में निकलने वाले जुलूस को न सिर्फ अनुमती मिली बल्कि शासन- प्रशासन के आलाधिकारियों और हिन्दू भाई इस जुलूस की व्यवस्था संभालने में जी जान से लगे रहे। पूरे नियमों, अनुशासन के साथ निकलने वाला ये जुलूस शांति, अमन और सौहार्द्र के साथ सम्पन्न हुआ।
किसी भी जुलूस पर प्रतिबंध नहीं
अमृत लाल नागर व लाल जी टंडन के चौक और मौलानाओं-शायरों की बहुतायत वाला नक्खास, काज़मैन,-विक्टोरिया स्ट्रीट वाले पुराने लखनऊ में हिंदू-मुस्लिम आबादी का काकटेल है। यहां बेहद बड़ी तादाद वाला मुसलमानों का जुलूस कई मायने में महत्वपूर्ण था। गर्म मौसम में जब देश के कई राज्यों में साम्प्रदायिक गरमा-गरमी का माहौल है ऐसे में देश भर के राज्यों की हुकुमतों को यूपी की योगी सरकार की गुड गवर्नेस की नसीहत दे रहा था। देश के माहौल को देखते हुए यूपी में किसी भी पारंपरिक धार्मिक जुलूस पर पाबंदी नहीं लगी बल्कि राम नवमी से लेकर हनुमान जन्मोत्सव, और रमज़ान के हर जुलूस को सम्पन्न करवाकर योगी सरकार बेहतर कानून व्यवस्था का एक माडल पेश कर रही है।
देश के अन्य राज्यों को ये सीख लेनी होगी की न सिर्फ बुलडोजर माडल को अपनाया जाए बल्कि यूपी की गुड गवर्नेस की कार्यशैली भी जमीन पर उतारनी पड़ेगी जिसमें सौहार्द भी हो, शांति, अमन, चैन, खुशहाली भी हो और कानून व्यवस्था को चुनौती देने वाली आपराधिक तत्त्व की गुस्ताखियों के हौसलों को अनुशासन वो कानून के राज का बुल्डोजर चकनाचूर कर दे।
सख्त कानून व्यवस्था जरूरी
आम जनता की रक्षा सुरक्षा के लिए सख्त कानून व्यवस्था जब किसी प्रदेश को दंगा मुक्त कर देती है तो आपसी भाईचारा एक अखंड समाज को ताकत देता है। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से लेकर नोएडा तक इन दिनों सौहार्द की मिसालें पेश हो रही हैं। हिन्दू भाइयों की धार्मिक शोभा यात्राओं में मुसलमान फूल बरसा रहे हैं, शर्बत बांट रहे हैं। पुराने लखनऊ में एक लाख से अधिक भीड़ वाले इक्कीस रमजान के जूलूस की शांति और सौहार्द्र ने बड़ी मिसाल पेश की।
इसी तरह यहां रोजा इफ्तार के कार्यक्रमों में हिन्दू, सिक्ख, जैन, बौद्ध और ईसाई इकट्ठा होकर देश को मोहब्बत का पैगाम दे रहे हैं। और देश-दुनियां को बता रहे हैं कि एक योगी की हुकुमत में किस तरह सभी धर्मों के मानने वालों किस तरह मोहब्बत और सौहार्द्र के साथ अपने धार्मिक अधिकारों का अधिकार पाते हैं। और किस तरह एक दूसरे के धर्म का सम्मान किया जाता है।
एकता का दिया संदेश
पाक रमजान माह के खास अवसर पर सभी धर्म सम्प्रदाय के आपसी सद्भाव व भाईचारे के बन्धन को अटूट बनाये रखने की दुआ के साथ जश्न-ए-आजादी ट्रस्ट एवं उप्र जिला मान्यता प्राप्त पत्रकार एसोसिएशन के संयुक्त तत्वावधान में एक रोजा-इफ्तार का कार्यक्रम होटल स्काइटेल, हजरतगंज, लखनऊ में सम्पन्न हुआ। पाक रमजान-उल-मुबारक के मौके पर आयोजित इस ‘रोजा इफ्तार’ पार्टी में विभिन्न धर्मों के अनुयाइयों एवं धार्मिक गुरूओं के साथ ही समाजसेवियों,पत्रकारों ने शिरकत की।
रोजा-इफ्तार में शामिल होने वाली प्रख्यात हस्तियों में लखनऊ मेयर संयुक्ता भाटिया, मुस्लिम धर्मगुरु खालिद रशीद फिरंगी महली ईसाई धर्म के फादर डिसूजा, बौद्ध धर्मगुरु,जग्गी सरदार, मौलाना मुश्ताक,स्वामी सारंग महाराज, समाजसेवी सिराज मेहंदी, सुशील दुबे,रजिया नवाज, मोहम्मद अली साहिल,समाजसेवी रामलखन आहूजा,पत्रकार सुल्तान शाकिर हाशमी, वकास वारसी, मो अफजल,सोनू यादव आदि प्रमुख थे।जिन्होंने साम्प्रदायिक सद्भावना एवं सौहार्द की अनूठी मिसाल प्रस्तुत करते हुए लखनऊ की गंगा-जमुनी तहजीब को नया आयाम प्रदान किया।
जश्न-ए-आजादी ट्रस्ट
रोजे में आये हुए सभी प्रबुद्धजनों का स्वागत जश्न-ए-आजादी ट्रस्ट के महामंत्री श्री मुरलीधर आहूजा ने किया। इस विशाल रोजा इफ्तार की विशेषता यह रही कि इसमें विभिन्न धर्माे एवं सम्प्रदायों के लोगों ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया। रोजा इफ्तार के उपरान्त तमाम रोजेदारों ने नमाज अदा करते हुए देश की अखंडता, आपसी सौहाद्र एवं भाईचारा कायम रखने की दुआ की। मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली ने रोजेदारों को नमाज अदा करवायी। इस अवसर पर जश्न-ए-आजादी ट्रस्ट के महामंत्री मुरलीधर आहूजा एवं उप्र जिला मान्यता प्राप्त पत्रकार एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष पं. हरि ओम शर्मा ने कहा कि यह एसोसिएशन पत्रकारिता के दायित्व के साथ-साथ अपने सामाजिक एवं साँस्कृतिक दायित्व भी पूरी जिम्मेदारी से निभा रही है।
गंगा जमुना की तहजीब दिखी
एसोसिएशन के महामंत्री अब्दुल वहीद ने कहा कि इस रोजा इफ्तार में आपसी एकता, मैत्री व सामाजिक सदभाव की भावना समाज के लिए एक नजीर प्रस्तुत करती है।एसोसिएशन के प्रदेश सचिव जुबेर अहमद ने कहा कि यह रोजा-इफ्तार में सभी धर्मों के अनुयाइयों के सामूहिक सहयोग से सम्पन्न हुआ और यही इसकी महत्वपूर्ण सफलता और खासियत है।श्री अहमद ने बताया कि रोजा-इफ्तार में जश्ने-ए-आजादी समिति के अध्यक्ष मुरलीधर अहुजार,महामंत्री निगहत खान, वामिक खान,संजय सिंह,टीम केयर इंडिया के अध्यक्ष शहजादे कलीम,अभय अग्रवाल, एमएम मोहसिन,शाहिद सिद्दकी, नज़म अहसन,संजय गुप्ता,डीपी शुक्ला, तौसीफ हुसैन,रहनुमा कुरैशी,कमर अली, इमरान खान,शहाबुद्दीन, हुमायूं, खुर्रम निजामी,अनीस वारसी,भानु प्रताप सिंह एवं आरिफ मुकीम, आरजू ,मो शरीफ अनवर अंजार, मुनव्वर अंजार,तौकीर,विजय गुप्ता,रामबाबू,आदि शामिल थे।
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