वाराणसी। बिजली बिल जमा करने की व्यवस्था से बचने के लिए यूपीसीएल बड़ा कदम उठाने जा रहा है। इसके तहत पूर्वांचल के सात जिलों के 27.3लाख घरों में निशुल्क स्मार्ट मीटर लगाने की तैयारी है।यह जानकारी कमिश्नरी में मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा की अध्यक्षता में स्मार्ट मीटरिंग प्रोजेक्ट की समीक्षा में सर्विस प्रोवाइडर ने दी।
त्रिस्तरीय तकनीकी गुणवत्ता
सर्विस प्रोवाइडर मेसर्स जीएमआर काशी स्मार्ट मीटर्स लिमिटेड के मुख्य कार्यपालक अधिकारी देवतोष चतुर्वेदी ने बताया कि इसके लिए 5,15,122 उपभोक्ताओं का सर्वे पूरा हो गया है। स्मार्ट मीटर लगाने के लिए इस क्लस्टर में वाराणसी जिले के अलावा गाजीपुर, चंदौली, जौनपुर, आजमगढ़, बलिया एवं मऊ में कुल 27.3 लाख लोगों को फायदा होगा।इस प्रोजेक्ट के तहत 29366 वितरण ट्रांसफार्मर, 1477 फीडरों पर स्मार्ट मीटर का सर्वे हो गया है। इसके लिए एजेंसी ने हर उपभोक्ता घर-घर जाकर सर्वे किया है। सर्वे से प्राप्त डेटा की त्रिस्तरीय तकनीकी गुणवत्ता जांच की जाएगी। डेटा सही मिलने पर स्मार्ट मीटर लगाए जाएंगे।
कैसे काम करता है स्मार्ट मीटर
स्मार्ट मीटर बिजली उपयोग को रिकॉर्ड करने मीटर संबंधित सूचना दूरस्थ स्थान तक पहुंचाने और दूरस्थ स्थान से विद्युत आपूर्ति को नियंत्रण करने की सुविधा प्रदान करता है। स्मार्ट मीटर बिजली खपत को सटीकता से मापने में सक्षम है, जिससे उपभोक्ताओं को उनके वास्तविक खपत के आधार पर बिल प्राप्त होंगे। स्मार्ट मीटर में रियल टाइम डेटा उपलब्ध कराने की सुविधा होने के कारण उपभोक्ता अपने बिजली की खपत को मॉनीटर कर सकते हैं। अनावश्यक खर्च को कम कर सकते हैं। स्मार्ट मीटर को मोबाइल की तरह ही आसानी से रिचार्ज किया जा सकता है
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