जहानाबाद। बिहार के जहानाबाद जिले में वाणवार सिद्धेश्वर धाम सोमवार सुबह भगदड़ मचने से कई श्रद्धालुओं की मौत हो गई, सुबह 8 बजे तक सात श्रद्धालुओं के शव निकाले जा चुके है। भगदड़ की वजह सोमवार सुबह भीड़ की बेकाबू होना मानी जा रही है। सावन सोमवारी पर बड़ी संख्या में लोग पूजा अर्चना के लिए जुटते है, इसी दौरान सुबह हादसा हो गया।बताया जा रहा है कि बराबर पहाड़ी पर चढ़ने के दौरान सीढ़ी पर अचानक भगदड़ मच गई।
लोग एक-दूसरे को कुचलते हुए इधर-उधर भागने लगे। पुलिस जब तक हालात को नियंत्रित करती तब तक सात लोगों ने दम तोड़ दिया। सोमवार सुबह सूर्योदय के समय ही यह हादसा हुआ। हादसे में 10 से ज्यादा लोगों के घायल होने की बात सामने आ रही है। मंदिर क्षेत्र में तैनात पुलिसकर्मियों और स्वयंसेवकों की मदद से राहत और बचाव का कार्य चल रहा है। घायलों को अस्पताल पहुंचाया जा रहा है।
डीएम और एसपी ने मौके पर पहुंचे
हादसे की सूचना के बाद डीएम और एसपी ने मौके पर पहुंचे हैं। वह हालात का जायजा ले रहे हैं। अब तक सात लोगों की मौत की सूचना मिली है। पुलिस मृत और घायलों के परिजनों से मिल रहे हैं और पूछताछ कर रहे हैं। मरने वालों की पहचान करने की कोशिश कर रहे हैं। इसके बाद हम शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजेंगे।स्थानीय युवक ने आरोप लगाया कि जहानाबाद सदर अस्पताल में कोई विधि व्यवस्था नहीं है। इतना ही नहीं जहानाबाद पहाड़ पर भी प्रशासन की ओर से पुख्ता इंतजाम नहीं किए गए हैं। केवल चार-पांच पुलिसकर्मी किनारे-किनारे खड़े थे। कोई देखरेख करने वाले नहीं होने के कारण दर्शन करने वाले श्रद्धालु मनमानी कर रहे थे।
धक्का-मुक्की करते हुए आगे बढ़ रहे थे। दो तरफ से रास्ता खुलने के कारण ऊपर काफी भीड़ हो जाती है। इसी कारण भगदड़ मची। मेरे परिवार से एक 20 साल की लड़की (निशा कुमारी) की मौत हो गई। एक लाश गाड़ी में पड़ी है। वह 35 साल के युवक की लाश है। अगर विधि व्यवस्था दुरुस्त रहती तो 35 साल का युवक नहीं मरता। एक मासूम बच्चे की मां मर गई है। वह रो-बिलख रहा है। उसे कोई देखने वाला है। एक-एक एंबुलेंस में चार-चार लोगों की लाशें लोड कर भेजी गई है।
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