भारत की ओर से पेटेंट सहयोग संधि आवेदनों में 44.6% की वृद्धि दर्ज

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India registers 44.6% increase in Patent Cooperation Treaty applications
हमें भारतीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिक क्लस्टरों में कृषि रसायन अनुसंधान के लिए शीर्ष पीसीटी आवेदक के रूप में मान्यता मिलने पर गर्व है।
  • ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स 2024 में यूपीएल को कृषि-रसायन क्षेत्र में अनुसंधान के लिए भारतीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी क्लस्टर में शीर्ष पीसीटी पेटेंट आवेदक के रूप में दी गई मान्यता

बिजनेस डेस्क, मुंबई। वहनीय कृषि समाधानों की वैश्विक प्रदाता, यूपीएल लिमिटेड को कृषि-रसायन अनुसंधान (एग्रोकेमिकल रिसर्च) के लिए भारतीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी (एस एंड टी) क्लस्टर में शीर्ष पेटेंट सहयोग संधि (पीसीटी) आवेदक के रूप में मान्यता दी गई है। यह मान्यता ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स (जीआईआई) 2024 से मिली है, जो सालाना स्तर पर दुनिया की अर्थव्यवस्थाओं को उनकी नवोन्मेष (इनोवेशन) क्षमता के आधार पर रैंकिंग प्रदान करता है। इसमें प्रमुख क्षेत्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी हब की पहचान कर इनका मूल्यांकन किया जाता है।

यूपीएल के ग्लोबल आईपी हेड, डॉ. विशाल सोधा ने इस उपलब्धि पर खुशी ज़ाहिर करते हुए कहा, “हमें भारतीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिक क्लस्टरों में कृषि रसायन अनुसंधान के लिए शीर्ष पीसीटी आवेदक के रूप में मान्यता मिलने पर गर्व है। यूपीएल में, हमारा मानना है कि कृषि की बड़ी से बड़ी चुनौतियों का समाधान नवोन्मेष के ज़रिये किया जा सकता है, और यह मान्यता प्रभावी, वहनीय समाधान प्रदान करने के हमारे संकल्प को और दृढ़ करती है।”

आधुनिक कृषि की चुनौतियां

“हम समर्पित वैज्ञानिक समुदाय के प्रति अपना आभार व्यक्त करते हैं, जिन्होंने नवोन्मेष को आगे बढ़ाने और आधुनिक कृषि की चुनौतियों से निपटने वाले समाधान विकसित करने के लिए निरंतर प्रयास किए। हम मज़बूत पेटेंट संरक्षण के ज़रिये इन नवोन्मेष की सुरक्षा में अमूल्य भूमिका निभाने के लिए अपनी बौद्धिक संपदा (आईपी) टीम के समर्थन के भी आभारी हैं।”ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स (जीआईआई) 2024 ने चार भारतीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी क्लस्टर- बेंगलुरु, दिल्ली, चेन्नई और मुंबई की पहचान की है, जो दुनिया के शीर्ष 100 क्लस्टर में शामिल हैं। यह 133 अर्थव्यवस्थाओं का मूल्यांकन करता है, जिसके तहत समृद्ध आविष्कारक और वैज्ञानिक परितंत्र वाले क्षेत्रों को उजागर किया जाता है।

भारत की रैंकिंग में सुधार

यह सूचकांक अनुसंधान एवं विकास प्रयासों, प्रौद्योगिकी अपनाने की दरों, प्रौद्योगिकी उत्पादन, फाइल किए गए पेटेंट और देश के आर्थिक संदर्भ सहित कई मापदंडों पर आधारित है। यह मान्यता, यूपीएल की नवोन्मेष, किसानों को सशक्त बनाने और वहनीय कृषि को आगे बढ़ाने के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है। वैश्विक नवोन्मेष के लिहाज़ से भारत की रैंकिंग में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। 2013 में भारत 66वें स्थान पर था जो 2024 में 39वें स्थान पर आ गया। जीआईआई ने यह भी रेखांकित किया कि भारत, मॉल्दोवा गणराज्य और वियतनाम, लगातार 14वें वर्ष यह गौरव प्राप्त करते हुए, नवोन्मेष के लिहाज़ से बेहतरीन प्रदर्शन करने वाले (ओवर परफॉर्मर) देशों में शामिल हैं। भारत की ओर से पीसीटी आवेदन में 44.6% की वृद्धि, वैश्विक स्तर पर नवोन्मेष में देश के बढ़ते नेतृत्व को रेखांकित करती है।

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